भोपाल।
कृषि उपज मंडी समिति और अन्य स्रोतों से निराश्रित निधि के बजट का गलत तरीके से आहरण करने के आरोप में विधानसभा की लोकलेखा समिति ने राजगढ़ जिले में 2007 से 2010 के दौरान पदस्थ तीन कलेक्टरों खिलाफ कार्रवाई की अनुशंसा की है। सितंबर 2007 से 2010 के बीच जिले में कलेक्टर रह चुके इन अफसरों के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल होगा। दरअसल, हर जिले में कृषि उपज मंडी समिति और अन्य स्रोतों से निराश्रित निधि की रकम संग्रहित की जाती थी। यह पैसा स्थानीय कोषालय में जमा होता था।
सरकार ने कलेक्टर्स को निराश्रित निधि के ब्याज से दो लाख रुपए तक खर्च करने के अधिकार दिए थे। इससे ज्यादा राशि खर्च करने के लिए विभाग की अनुमति लेना जरूरी था। राजगढ़ जिले में सितंबर 2007 से मई 2010 तक 17 चेक के जरिए नियमों के विरुद्ध 42 लाख रुपए निकाले गए। कुछ चेक से नियमों के विपरीत 2 लाख रुपए से ज्यादा की रकम निकाली गई थी। समिति ने आईएएस अफसर जीपी तिवारी, शिवानंद दुबे और लोकेश जाटव के खिलाफ कार्रवाई की सिफारिश की है।
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